March 28, 2024

INX मीडिया केस: कोर्ट में पेश हुए कार्ति, CBI ने रखी कस्टडी की अवधि बढ़ाने की मांग

आइएनएक्‍स मीडिया केस में गिरफ्तार कार्ति चिदंबरम की एक दिन की कस्‍टडी खत्‍म होने के बाद आज सीबीआइ द्वारा पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया गया। सीबीआइ ने कोर्ट से मामले में 14 दिन की हिरासत बढ़ाने की मांग की। सीबीआई ने कोर्ट को बताया, कार्ति चिदंबरम व विभिन्‍न कंपनियों के बीच लिंक के स्‍पष्‍ट गवाह हैं। हमारे पास इमेल व इनव्‍यासेज हैं जिससे पता चलता है कि आइएनएक्‍स मीडिया को जब मदद मिली थी उस दौरान एडवांटेज स्‍ट्रैटजिक कंसल्‍टेंसी प्राइवेट लिमिटेड (एएससीपीएल) को पैसे दिए गए थे। इसके अलावा कोर्ट ने कार्ति चिदंबरम के चार्टर्ड अकाउंटेंट की जमानत याचिका पर फैसला सुरक्षित रखा है, अब उसे 7 मार्च तक जेल में ही रहना होगा। उल्‍लेखनीय है कि चार्टर्ड अकाउंटेंट एस. भास्कर रमन को पहले ही गिरफ्तार किया गया था।

कार्ति को स्‍पेशल जज सुनील राणा के समक्ष पेश किया गया जो सीबीआइ द्वारा कस्‍टडी की अवधि बढ़ाए जाने की मांग पर सुनवाई कर रहे थे। कार्ति की मां नलिनी चिदंबरम भी मौके पर मौजूद थीं, नलिनी भी सीनियर एडवोकेट हैं। कार्ति के वकीलों की टीम का नेतृत्‍व सीनियर एडवोकेट अभिषेक मनु सिंघवी कर रहे हैं।

दौरा स्‍थगित कर वापस लौट रहे पी. चिदंबरम

गिरफ्तारी के बाद सीबीआई ने दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट से 15 दिन की रिमांड पर भेजने की मांग की थी, लेकिन कोर्ट ने कार्ति को एक दिन की रिमांड पर भेज दिया। सीबीआई गुरुवार सुबह से ही पूछताछ कर रही है और उनका मेडिकल चेकअप भी करवाया है। वहीं बेटे की गिरफ्तारी के बाद पिता पी. चिदंबरम विदेश दौरा स्थगित कर स्वदेश लौट रहे हैं। बुधवार को पटियाला हाउस कोर्ट में कार्ति की ओर से वकील अभिषेक मनु सिंघवी और सीबीआइ के बीच जोरदार बहस हुई। कार्ति की ओर से एक याचिका दाखिल की गई कि सीबीआइ की रिमांड पर लेने की अर्जी खारिज की जाए।

कार्ति गिरफ्तार, मुश्किल में चिदंबरम 

आइएनएक्स मीडिया कंपनी को कानूनी सीमा से अधिक विदेशी निवेश की अनुमति दिलाने के मामले में पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम के इर्द-गिर्द शिकंजा कसना शुरू हो गया है। इस मामले में सीबीआइ ने उनके बेटे कार्ति चिदंबरम को बुधवार को विदेश से लौटते हुए चेन्नई हवाई अड्डे से गिरफ्तार कर लिया। अगली फ्लाइट से उनको दिल्ली लाया गया। मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट सुमित आनंद की अदालत ने उन्हें एक दिन की हिरासत में सीबीआइ को सौंप दिया। वैसे जानकारों की मानें तो कार्ती की गिरफ्तारी के बाद इस मामले में पी. चिदंबरम से पूछताछ होना भी निश्चित हो गया है।

305 करोड़ रुपये से अधिक का विदेशी निवेश

सीबीआइ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि न्यूज चैनल खोलने के लिए आइएनएक्स को 2007 में विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड (एफआइपीबी) ने मात्र 4.62 करोड़ रुपये का विदेशी निवेश लाने की अनुमति दी थी। लेकिन, कंपनी पिछले दरवाजे से 305 करोड़ रुपये से अधिक का विदेशी निवेश ले लाई। इस मामले में फरवरी 2008 में ही कंपनी के खिलाफ आयकर विभाग और एफआईपीबी में शिकायत मिल गई थी और उसे नोटिस भी जारी कर दिया गया था। लेकिन, नोटिस का जवाब देने के बजाय पीटर मुखर्जी और इंद्राणी मुखर्जी ने कार्ती चिदंबरम से संपर्क किया। पी. चिदंबरम उस समय केंद्र सरकार में वित्त मंत्री थे।

कार्ती ने पीटर और इंद्राणी को कार्रवाई से बचने के लिए अपनी कंपनी चेस मैनेजमेंट सर्विसेज को सलाहकार रखने को कहा। इस तरह चेस मैनेजमेंट सर्विसेज की सलाह पर 305 करोड़ से अधिक के विदेशी निवेश को सही ठहरा दिया गया। कार्ती की कंपनी की सलाह को मानते हुए एफआइपीबी और आयकर विभाग ने आइएनएक्स की दलीलों को स्वीकार कर लिया और जांच बंद कर दी। एफआईपीबी और आयकर विभाग दोनों वित्त मंत्रालय के अधीन हैं।

ऐसे चला घालमेल का खेल

सीबीआइ के वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि एफआईपीबी और आयकर विभाग की जांच से बचने की ‘सलाह’ के एवज में कार्ती ने आइएनएक्स मीडिया से 3.5 करोड़ रुपये की मोटी फीस वसूल की थी। लेकिन जांच एजेंसियों की निगाह से बचने के लिए एक तीसरी कंपनी को बीच में लाया गया। आइएनएक्स मीडिया ने एफआईपीबी की जांच से बचने के लिए चेस मैनेजमेंट सर्विसेज को सलाहकार बनाया। लेकिन, ‘सलाह’ की सेवा के लिए बिल एडवांटेज स्ट्रैटेजिक कंसल्टिंग की ओर से जारी किया गया। एडवांटेज स्ट्रैटेजिक कंसल्टिंग परोक्ष रूप से कार्ती की ही कंपनी बताई जाती है। इस गलती से खुल गई पोल वहीं, एडवांटेज स्ट्रैटेजिक कंसल्टिंग ने भी आइएनएक्स को बिल मीडिया कंटेंट और मार्केट रिसर्च जैसी सेवाओं के लिए बनाकर जारी कर दिया। लेकिन, आइएनएक्स की एक गलती ने इसकी पोल खोल दी।

आइएनएक्स के रिकॉर्ड में 10 लाख रुपये के एक बिल का उल्लेख है। इसमें कहा गया है कि यह पैसा एडवांटेज स्ट्रैटेजिक कंसल्टिंग को एफआईपीबी को ‘मैनेज’ करने की कंसल्टेंसी के रूप में दिया गया है। जबकि इसके लिए कंसल्टेंसी चेस मैनेजमेंट सर्विसेज ने दी थी।

चिदंबरम से मिले थे पीटर और इंद्राणी

आइएनएक्स कंपनी के मालिकों पीटर और इंद्राणी मुखर्जी ने मजिस्ट्रेट के सामने दर्ज बयान में कार्ती को रिश्वत देने की बात स्वीकार कर ली है।  दोनों ने यह भी कहा कि इसके लिए वे तत्कालीन वित्त मंत्री पी. चिदंबरम से भी मिले थे। चिदंबरम ने उन्हें बेटे की कंपनी की मदद करने को कहा था। पीटर और इंद्राणी इस समय बेटी की हत्या के आरोप में जेल में बंद हैं।

स्वामी बोले-अब चिदंबरम की बारी दूसरी ओर

भाजपा नेता व राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने पी. चिदंबरम की भी गिरफ्तारी की मांग करते हुए कहा कि इस मामले में वह भी दोषी हैं और एक महीने में उनकी गिरफ्तारी होगी।

सच साबित हुआ अंदेशा

उल्लेखनीय है कि कार्ति चिदंबरम की ओर से पिछले सप्ताह ही सुप्रीम कोर्ट में यह आशंका जताई गई थी कि उन्हें लंदन से लौटते ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा। उनकी यह आशंका सच साबित हुई है। पी. चिदंबरम ने भी पिछले सप्ताह सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दाखिल कर कहा था कि ‘अवैध जांच’ के सिलसिले में एजेंसियों को उन्हें तथा उनके परिवार को परेशान करने से रोका जाए।

सरकार की ओर से कोई हस्तक्षेप नहीं

कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा है कि कानून अपना काम कर रहा है। कानून को अपना काम करना चाहिए। सीबीआइ सारी चीजें स्पष्ट करेगी। हम हस्तक्षेप नहीं करना चाहते। सरकार की ओर से कोई हस्तक्षेप नहीं है।

कांग्रेस ने कहा- बदले की कार्रवाई 

कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि पी. चिदंबरम और उनके परिवार के खिलाफ की गई बदले की कार्रवाई से कांग्रेस पार्टी को रोका नहीं जा सकता है। हम सच बोलना जारी रखेंगे।


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