अनिल कुंबले के कोच पद से इस्तीफे की वजह से जुड़ी हैं ये 8 बड़ी बातें
1-टीम इंडिया के कप्तान विराट कोहली और कोच अनिल कुंबले के बीच दरार की खबरे बीते कई हफ्तों से मीडिया में बनी हुई हैं। इसके बाद कुंबले ने अपना इस्तीफा बीसीसीआई को सौंप दिया और टीम से साइड हो गए। हालांकि, चैंपियंस ट्रॉफी 2017 की शुरुआत में कोहली ने टीम में किसी भी प्रकार के मतभेद से साफ इनकार किया था।
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अपने एक साल के कार्यकाल में कुंबले बेहद सफल कोच बनकर उभरे। टेस्ट हो या वनडे या फिर टी-20, कुंबले के कार्यकाल के दौरान टीम इंडिया सिर्फ एक ही टी-20 सीरीज हारी। कुंबले के जाने से टीम इंडिया पर काफी असर पड़ सकता है। क्रिकेट सलाहकार समिति (सीएसी) के बीसीसीआई ने कहा कि वो टीम इंडिया के लिए नया कोच ढूंढ, मगर सचिन, सौरव और लक्ष्मण की सदस्यता वाली यह समिति कुंबले को बरकरार रखना चाहती थी।
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कुंबले के जाने के संकेत आईपीएल के बाद से ही मिलने लग गए थे। दरअसल, कोच और कप्तान के बीच दरार की शुरुआत काफी वक्त पहले ही हो चुकी थी। 23 जून 2016 को सीएसी ने टीम डायरेक्टर रवि शास्त्री को हटाकर अनिल कुंबले को कोच नियुक्त किया, जिसके बाद टीम इंडिया ने 17 टेस्ट खेले, जिसमें से 12 जीते, 4 ड्रॉ रहे और 1 मैच में टीम को हार का मुंह देखना पड़ा।
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25 मार्च 2017 को खबर आई कि टीम इंडिया के कोच आर कप्तान अंतिम एकादश पर एक मत नहीं है। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज में कोच चाइनामैन स्पिनर कुलदीप यादव को शामिल करना चाहते थे, मगर कप्तान कोहली इसके पक्ष में नहीं थे। धर्मशाला टेस्ट में चोट के चलते विराट बाहर हुआ और टीम में कुलदीप को जगह मिली। हालांकि, कोहली इस फैसले से खुश नहीं धे।
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इसके बाद मई 23 को कुंबले ने कहा कि बल्लेबाजी कोच संजय बांगड़ को सहायक कोच नियुक्त किया जाए, जिसके बाद टीम में गेंदबाजी कोच के लिए पद बने। कुंबले इस पद पर जहीर खान को लाना के पक्ष में थे। 2 दिन बाद ही बीसीसीआई ने सीएसी से कहा कि वो टीम इंडिया के नए प्रमुख कोच की खोज शुरू करें। हालांकि, सूत्रों ने कहा कि यह सिर्फ एक प्रक्रिया भर है, जिसे निभाना ही होगा।
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