आरटीआई में खुलासा, सात साल में 114 ट्रेन हादसा

भारतीय रेल की छवि मौत की ट्रेन के रूप में बनते जा रही है। बीते साल सालों में अकेले उत्तर भारत में ही 114 रेल दुर्घटनाएं हुई हैं। जिसमें 226 लोगों की मौत हुई और 365 लोग घायल हुए। एक आरटीआई के जवाब में उत्तर रेलवे ने कहा है कि सबसे ज्यादा हताहत 19 अगस्त को मुजफ्फरनगर के खतौली में उत्कल एक्सप्रेस के पटरी से उतरने की घटना में हुए। इस दुर्घटना में उत्कल एक्सप्रेस के 13 डिब्बे पटरी से उतर गए थे। जिसकी वजह से 25 लोगों की मौत हुई और 105 घायल हुए थे। इस मामले में जांच रिपोर्ट अभी आनी बाकी है।
20 मार्च 2015 को देहरादून वाराणसी एक्सप्रेस के रायबरेली के बछरावां स्टेशन के पास पटरी से उतरने से 39 लोगों की मौत हो गई थी। इसमें 38 लोग घायल हुए थे। रेल मंत्रालय की कमान संभालने के बाद रेल मंत्री पीयूष गोयल ने सबसे ज्यादा जोर रेलवे की सुरक्षा पर दिया है। रेल दुर्घटनाओं की संख्या में कमी लाने के प्रयास में उन्होंने सभी 17 जोनल अधिकारियों की बीते माह अहम बैठक ली थी। सिग्नलिंग व्यवस्था में तकनीकी के इस्तेमाल पर जोर के साथ उन्होंने अधिकारियों को आश्वस्त किया कि सुरक्षा खर्च के लिए धन की कमी नहीं होगी।