September 22, 2024

दिल्ली-एनसीआर के प्रदूषण में आई भारी गिरावट, अधिकतर इलाकों में वायु गुणवत्ता 300 के पास

दिल्ली-एनसीआर में रविवार की दमघोंटू हवा के बाद सोमवार को हवा की गति में मामूली वृद्धि होने से प्रदूषण के स्तर में भारी कमी आई है लेकिन वायु गुणवत्ता अब भी ‘बेहद खराब’ श्रेणी में बनी हुई है। आंकड़े बताते हैं कि दिल्ली के अधिकतर इलाकों में वायु गुणवत्ता का स्तर 300 के पास पहुंच गया है। सुबह चार बज कर 38 मिनट पर दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 438 रहा। 

क्या हैं वायु गुणवत्ता के मानक

एक्यूआई 0-50 के बीच ‘अच्छा’, 51-100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101-200 के बीच ‘मध्यम’, 201-300 के बीच ‘खराब’, 301-400 के बीच ‘अत्यंत खराब’, 401-500 के बीच ‘गंभीर’ और 500 के पार ‘बेहद गंभीर’ माना जाता है।

बताया जा रहा है कि सोमवार सुबह गुरुग्राम की वायु गुणवत्ता 399 दर्ज की गई। इससे पहले यहां रविवार को 700 से ज्यादा प्वाइंट्स तक वायु गुणवत्ता का स्तर पहुंचा था।

राजधानी में लगे प्रदूषण मॉनिटरों ने जो आंकड़े जारी किए हैं उसके अनुसार सोमवार सुबह लोधी रोड पर वायु गुणवत्ता का स्तर 703, दिल्ली विश्वविद्यालय में 695 और धीरपुर में 676 रहा।

वहीं, एक्यूआई आनंद विहार में 491 था जो अब 800 पार कर चुका है और आईटीओ में 434 रिकॉर्ड हुआ, जो प्रदूषण की गंभीर स्थिति है। गाजियाबाद 731 है तो फरीदाबाद 511 दर्ज किया गया। सोमवार को आनंद विहार व कई इलाकों में नगर निगम ने प्रदूषण कम करने के लिए पानी का छिड़काव किया।

एक्यूआई 0-50 के बीच ‘अच्छा’, 51-100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101-200 के बीच ‘मध्यम’, 201-300 के बीच ‘खराब’, 301-400 के बीच ‘अत्यंत खराब’, 401-500 के बीच ‘गंभीर’ और 500 के पार ‘बेहद गंभीर’ माना जाता है।

रविवार को ज्यादातर इलाकों में दृश्यता काफी कम थी। दिल्ली एयरपोर्ट पर खराब मौसम और लो विजिबिलिटी के कारण विमान सेवाओं पर असर पड़ा। टर्मिनल-3 से 37 फ्लाइट्स को जयपुर, अमृतसर और लखनऊ डायवर्ट करना पड़ा था।

गौरतलब है कि अमर उजाला ने एक ऑनलाइन सर्वे कराया था जिसमें पूछा गया था कि प्रदूषण की वजह से क्या आपके मन में भी दिल्ली-एनसीआर छोड़कर जाने का ख्याल आता है? इसमें अब तक लगभग 79 प्रतिशत लोगों ने हां में जवाब दिया है।   

दिवाली के बाद तीन साल में पहली बार लगातार सात दिन दमघोंटू हवा
दिवाली के बाद तीन साल में पहली बार लगातार सात दिन तक रविवार को दिल्ली-एनसीआर की हवा दमघोंटू बनी रही। इसी बीच दिल्ली में एक दिन का सबसे ज्यादा प्रदूषण भी दर्ज किया गया। इसमें सबसे ज्यादा मात्रा पीएम 2.5 की रही। रविवार को दिनभर ज्यादातर स्थानों पर इसका स्तर पीएम 10 से ज्यादा था।

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के आंकड़ों के अनुसार 2016 में दिवाली के बाद करीब 12 दिनों तक दिल्ली-एनसीआर में वायु गुणवत्ता सूचकांक बेहद खराब से गंभीर स्थिति में रहा था।2017 और 2018 में दिवाली के पटाखों से निकला धुआं चार से पांच दिन में छंट गया था। जबकि इस बार खराब मौसमी दशाओं और पराली के धुएं ने दिल्ली-एनसीआर को गैस चैंबर में तब्दील कर रखा है।

दिवाली के बाद के सातवें दिन की हवा इस सीजन में सबसे प्रदूषित रही। इस बीच पहली बार दिल्ली का सूचकांक 490 से पार गया। शाम छह बजे अरविंदो मार्ग, आया नगर, अशोक विहार, आनंद विहार, वजीरपुर, बवाना, अलीपुर, नरेला, सीरीफोर्ट समेत करीब 12 इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक 500 तक पहुंच गया था। जबकि अन्य क्षेत्रों में यह 490 से 499 के बीच रहा। 

मौसम विभाग को सुधार की उम्मीद

मौसम विभाग का कहना है कि सोमवार को हवा की चाल तेज रहेगी। इससे दोपहर बाद धीरे-धीरे दिल्ली का प्रदूषण कम होना शुरू होगा। मंगलवार से हवा की गुणवत्ता पर भी इसका असर दिखना लगेगा। सात व आठ नवंबर को दिल्ली-एनसीआर में बारिश होने का पूर्वानुमान है। तेज बारिश से राहत मिलने की उम्मीद है। 


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