November 24, 2024

‘पहाड़ पुत्र’ है अडिग, जो कहा वो किया, भयभीत हुआ भ्रष्टाचार

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उत्तराखण्ड 21वां स्थापना दिवस मना रहा है। प्रदेश में जश्न और उल्लास का माहौल है। ठीक वैसा ही जश्न का माहौल जैसा 9 नवम्बर 2000 को था। इस जश्न और उल्लास की वजह भी है क्योंकि 20 साल के बाद उत्तराखण्ड आंदोनकारियों और जनता की भावनाओं के मुताबिक गैरसैण उत्तराखण्ड की राजधानी बन गई है। मौजूदा मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने गैरसैण को लेकर जो घोषणाएं की उससे अलग पहाड़ी राज्य का सपना पूरा होता नजर आता है।

उत्तराखण्ड के इतिहास में यह पहला मौका है जब प्रदेश के किसी मुखिया ने ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित होने के बाद गैरसैंण में राज्य स्थापना दिवस की सालगिरह मनायी। त्रिवेन्द्र सिंह रावत के पास उत्तराखण्ड और गैरसैण को लेकर व्यापक विजन है।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने घोषणा की है कि गैरसैण परिक्षेत्र का ग्रीष्मकालीन राजधानी के अनुरूप विकास के लिए अगले दस वर्षों में 25 हजार करोङ रूपए खर्च किये जाएंगे। इस इलाके का सुनियोजित विकास होगा। मुख्य सचिव की अध्यक्षता में राजधानी के विकास को समिति गठित होगी। राजधानी के ढांचागत विकास जरूरी है। इसके लिए त्रिवेन्द्र सरकार आने वाले 10 वर्षों में 25 हजार करोड़ रूपए खर्च करेगी। 25 हजार करोङ रूपए से ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैण के पूरे इलाके का चहुमुखी विकास होगा।

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पहाड़ पर राजधानी को लेकर त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने साबित कर दिया है कि वे सिर्फ वादे लेकर सरकार में नहीं है। वे असली ’पहाड़ पुत्र’ हैं। उनके इरादे मजबूत हैं। वे उत्तराखण्ड की जनता का दुख-दर्द और भावनायें जानते-समझते हैं।

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राजधानी गैरसैण को लेकर त्रिवेन्द्र सिंह रावत के विजन और एक्शन को लेकर विरोधी और आलोचक चारों खाने चित्त हैं। राजधानी क्षेत्र के विकास को उन्होंने ना केवल 25 हजार करोड़ की घोषणा की बल्कि उन्होंने इसके विकास के लिए ’एक्शन पत्र’ भी प्रस्तुत किया। पहाड़पुत्र त्रिवेन्द्र सिंह रावत के इस ’एक्शन पत्र’ से राजधानी क्षेत्र में ढांचागत सुविधाओं का विकास होगा। स्वरोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। यातायात सुविधााओं का विस्तार होगा। खेती-बाड़ी और बागवानी में नई संभावनायें बढेगी। स्थानीय स्तर पर युवाओं में कौशल का विकास होगा।

गैरसैंण में कौशल विकास के लिए ’सेन्टर ऑफ एक्सीलेंस’ की स्थापना होगी। नगर पंचायत गैरसैंण में आंतरिक मार्गों, नालों आदि का निर्माण होगा। नगर पंचायत गैरसैंण के लिए 3500 लीटर क्षमता के ट्रैक्टर ट्राली और टैंकर खरीदी होगी। विकासखण्ड गैरसैंण में ’मशरूम कम्पोस्ट’ उत्पादन यूनिट की स्थापना होगी।

राजकीय इंटर कॉलेज गैरसैंण में 2 मॉडर्न आदर्श लैब बनेंगे। ’बचपन’ प्रोजेक्ट में जिले के 40 आंगनबाड़ी केंद्रों को शामिल होंगे। इस प्रोजेक्ट में मिनी सोलर प्लांट के माध्यम से बिजली, शौचालय, पानी, फर्नीचर, झूले, अलमारी, शिक्षाप्रद खिलौने, फ्लोर टाईलें, वॉल पेंटिंग, गैस कनेक्शन, यूनिफार्म की व्यवस्था होगी।

ग्राम बड़ागांव के हनुमानशिला के समीप से औली पहुंचने के लिए वैकल्पिक मोटर मार्ग का नवनिर्माण किया जाएगा। पहले चरण में 15 किलोमीटर को मंजूरी भी मिल गई है। दुरमी में मत्स्य पालन, नौकायन, विद्युत उत्पादन आदि के लिए मल्टीपरपज तालाब का निर्माण किया जाएगा। इससे स्थानीय स्तर पर खेती-बाड़ी और पर्यटन में स्वरोजगार के अवसर पैदा होंगे।

जीआईसी गोपेश्वर में भूस्खलन के ट्रीटमेंट और पानी की निकासी की व्यवस्था के साथ ही 02 अतिरिक्त कक्षा कक्ष के निर्माण को मंजूरी मिल गई है। क्लोनल रूट स्टाक पर आधारित उच्च तकनीक युक्त आदर्श सेब बागान की स्थापना की जाएगी। कर्णप्रयाग मण्डी, विकास खण्ड जोशीमठ के बड़ागांव और विकासखण्ड घाट के सलबगढ में कोल्ड स्टोरेज की स्थापना की जाएगी। कोल्ड स्टोरेज के बन जाने से स्थानीय काश्तकारों को सीधा फायदा मिलेगा।

नाबार्ड के अंतर्गत विकासखण्ड घाट के मुख्य बाजार का बाढ़ सुरक्षा का कार्य होगा। इसके साथ पुरसाड़ी में विजयनगर ग्राम की बाढ़ सुरक्षा का काम किया जाएगा। कर्णप्रयाग-नौटी पैठाणी मोटर मार्ग से ग्राम गैरोली तक मोटर मार्ग नव निर्माण के दूसरे चरण के 3 किलोमीटर को स्वीकृति मिल गई। इससे ग्राम गैरोली मोटर मार्ग से जुड़ेगा।

‘जल जीवन मिशन’ के तहत स्थानीय ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल की समस्या को दूर किया जाएगा। इसके अंतर्गत विकासखण्ड गैरसैंण के कांसुवा ग्रामसभा पेयजल योजना के लिए धनराशि की स्वीकृति मिल गई। जल जीवन मिशन के अंतर्गत विकासखण्ड गैरसैंण के रामड़ामल्ला ग्रामसभा पेयजल योजना के लिए धनराशि की स्वीकृति। विकासखण्ड गैरसैंण में गोल पेयजल योजना के लिए धनराशि की मंजूर हो गई है। गैरसैंण एवं निकटवर्ती क्षेत्र की पम्पिंग पेयजल योजना को स्वीकृति मिल चुकी है। त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने गैरसैंण को प्रदेश की ग्रीष्मकालीन राजधानी बनाकर विकास की नयी धारा प्रवाहित की है। ग्रीष्मकालीन राजधानी बनने से सभी लोगों में खुशी छाई है। मुख्यमंत्री बातें कम और काम ज्यादा करते हैं।

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पहाड़ पुत्र के निर्णाय से भ्रष्टाचार भी हुआ भयभीत

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत का सुशासन और स्वरोजगार हमेशा से मूल मंत्र रहा है। भ्रष्टाचार को लेकर उनकी नीति ’जीरो टालरेंस’ की रही है। प्रदेश में भ्रष्टाचार को लेकर वह किसी भी स्तर पर समझौता नहीं करते। भ्रष्टाचार पर चोट करने के लिए उन्होंने अलग से टोल-फ्री हेल्पलाइन बनाने की घोषणा की है। ये त्रिवेन्द्र सिंह रावत के अडिग फैसले ही है, जिससे प्रदेश में फलते-फूलते ट्रांसफर उद्योग का खात्मा हो चुका है।

माता और बहनों को आर्थिक तौर पर सशक्त करने को उनके पास स्किल डेवलेपमेंट की योजना है। इसके लिए उनकी सरकार महिला स्वयं सहायता समूह के जरिये पांच लाख का ब्याजमुक्त लोन मुहैया कर रही है। पहाड़ के दूरस्थ क्षेत्रों के विकास को 104 ’रुरल ग्रोथ सेंटर’ शुरू किये हैं। यहां स्थानीय काश्तकार अपने उत्पादों खरीदी-बेची कर सकते हैं।

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त्रिवेन्द्र सरकार ने स्वरोजगार को एक अभियान बनाया है। जिलों में स्वरोजगार पर जिला योजना का 40 प्रतिशत खर्च किया जा रहा है। देश में उत्तराखण्ड ऐसा राज्य है जहां ग्रामीण क्षेत्रों में ‘एक रुपये’ में पानी का कनेक्शन दे रहे हैं। कैम्पा में 10 हजार लोगो को रोजगार देने पर काम कर रहे हैं। अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना में 5 लाख रूपये तक निशुल्क ईलाज की सुविधा है। महाविद्यालयों में 94 प्रतिशत फैकल्टी है। 500 स्कूलों में स्मार्ट क्लासेज हैं। 700 और स्कूलों में स्मार्ट क्लासेज शुरू की जाएंगीं। कालेजों में वाई फाई कनेक्टीवीटी दी जा रही है। आशा कार्यकत्रियों के मानदेय और वृद्धावस्था, विधवा व विकलांग पेंशन में बढोतरी की है।

लगभग 500 सर्वाधिक पलायन वाले ग्रामों में स्थित स्वयं सहायता समूह को ब्याज मुक्त ऋण दिया जायेगा। आम जनमानस की कठिनाईयों के निराकरण हेतु जनपद स्तरीय विकास प्राधिकरणों द्वारा भवन निर्माण का मानचित्र पास करने की व्यवस्था की प्रक्रिया का सरलीकरण एवं शिथिलीकरण किया जायेगा।

शहरी इलाको में गरीब व्यक्तियों हेतु पेयजल कनेक्शन रू. 100 पर उपलब्ध कराया जायेगा।
महिला एवं बच्चों हेतु मुख्यमंत्री सौभाग्यवती योजना प्रारम्भ की जायेगी। इसके अन्तर्गत सौभाग्यवती किट दी जायेगी। राज्य की निर्यात नीति बनायी जायेगी। राज्य के सीमांत इलाकों में पुलिस आउटपोस्ट बनायी जायेगी।