लखीमपुर मामले में आंदोलनरत किसानों ने राष्ट्रपति को लिखा पत्र, SIT जांच की मांग
उत्तर प्रदेश के लखीमपुर में किसानों और मंत्री के बेटे के बीच टकराव के बाद हुई हिंसक घटना में आठ लोगों की मौत से प्रदेशभर में बवाल जारी है. राजनीतिक दल के नेताओं और आंदोलनरत किसानों में इसे लेकर बेहद रोष है. अब संयुक्त किसान मोर्चा ने इस मामले को लेकर राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद को पत्र लिखा और मामले में हस्तक्षेप की मांग की है.
इस पत्र में गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा को हटाने, उनके बेटे आशीष मिश्रा पर 302 के तहत हत्या का केस दर्ज करने, जांच के लिए SIT के गठन की मांग की गई है. साथ ही चिट्ठी में हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर पर हिंसा भड़काने का आरोप लगाया गया है, कहा गया है कि उनको सीएम पद से हटाया जाना चाहिए.
‘उत्तर प्रदेश और केंद्र सरकार की साजिश’
संयुक्त किसान मोर्चा की तरफ से राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को लिखे पत्र में आरोप लगाते हुए कहा गया है कि तीन अक्टूबर को लखीमपुर खीरी में किसानों को रौंदकर दिनदहाड़े उनकी हत्या करने की घटना से पूरे देश में उबाल है. केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे और उसके साथियों ने जिस बेखौफ तरीके से यह हमला किया वह उत्तर प्रदेश और केंद्र सरकार की साजिश को दिखाता है.
यूपी सरकार ने भी पंजाब को लिखा पत्र
वहीं, उत्तर प्रदेश सरकार ने भी पंजाब के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर राज्य से किसी को भी लखीमपुर खीरी नहीं जाने देने का अनुरोध किया. लखीमपुर खीरी में कल हिंसा में 8 लोगों की मौत के बाद सीआरपीसी की धारा 144 लागू की गई थी.
यूपी के पड़ोसी राज्यों से लगने वाली सीमाओं पर गहन चैकिंग अभियान चलाया जा रह है. ऐसे में DND टोल प्लाजा पर दिल्ली की ओर से यूपी में एंट्री करने वाले सभी वाहनों को चेक करने के बाद ही यूपी की सीमा में प्रवेश करने दिया जा रहा है. इस दौरान राजनीतिक पार्टियों के कई नुमाइंदे लखीमपुर खीरी जाने की कोशिश में जुटे हुए हैं. ऐसे में पुलिस की कोशिश ये है कि किसी भी राजनीतिक व्यक्ति को डीएनडी टोल प्लाजा पर ही रोक लिया जाए.