September 22, 2024

बहुचर्चित यौन शोषण मामले में जे०पी० जोशी बाइज्जत बरी, ब्लैकमेलिंग में तथाकथित पीड़िता समेत चार को सजा

देहरादून। उत्तराखण्ड में बहुचर्चित जे०पी० जोशी प्रकरण में अदालत ने यौन शोषण के मामले में आरोपी जे०पी० जोशी को निर्दोष पाया है। दिल्ली की पटियाला हाउस की फास्ट टैªक कोर्ट ने इस मामले में आरोपी जे०पी० जोशी और ऋतु कंडियाल को बाइज्जत बरी कर दिया है। वहीं इस मामले में ब्लैकमेलिंग के आरोप में तथाकथित पीड़िता आइना राय समेत चार अभियुक्तों को को सजा हुई है।

साल 2013 में दिल्ली में दर्ज कराई गई प्रथम सूचना रिपोर्ट के आधार पर उत्तराखंड शासन के तत्कालीन अपर सचिव जे० पी० जोशी पर यौन शौषण का अभियोग पंजीकृत किया गया था। वहीं जे०पी० जोशी की तरफ से विरोधी पक्ष के खिलाफ ब्लैकमेलिंग का अभियोग पंजीकृत करवाया गया था।

इस मामले में तहकीकात के बाद ब्लैकमेलिंग में छह अभियुक्तों तत्कालीन संयुक्त सचिव ( वर्तमान अपर सचिव ) सुमन सिंह वल्दिया, संजय बनर्जी, नीरज चौहान, शाइनी मैक खान, अमित गर्ग तथा आइना राय को न्यायिक अभिरक्षा में भेजा गया था। जबकि यौन शोषण में जे०पी० जोशी और रितु कंडियाल को न्यायिक अभिरक्षा में भेजा गया।

ब्लैकमेलिंग और यौन शोषण के ये दोनों मुकदमें पिछले साल सर्वाेच्च न्यायालय के आदेश से उत्तराखंड से दिल्ली स्थानांतरित किए गए थे। नई दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट की विशेष फास्ट ट्रैक कोर्ट द्वारा इन दोनों मुकदमों में फैसला सुनाते हुए जे०पी० जोशी एवं ऋतु कंडियाल को यौन शौषण के मुकदमे में बाइज्जत बरी किया गया। ब्लैकमेलिंग के अभियोग में नीरज चौहान, शाइनी मैक खान, अमित गर्ग तथा आयना राय (यौन शौषण के अभियोग की तथाकथित पीड़िता) को भारतीय दण्ड संहिता की धारा 120बी, 385, 389, 504 तथा सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा 67 के अंतर्गत दोषसिद्ध घोषित कर दिल्ली की तिहाड़ जेल भेजा गया। ब्लैकमेलिंग में आरोपी संजय बनर्जी और सुमन सिंह वल्दिया बरी हुए हैं।


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