शिक्षा विभाग में फिर एक तुगलकी फरमान, अपने ही घोषित शैक्षिक कैलेण्डर को किया बायपास

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देहरादून। प्रदेश के शिक्षा विभाग में तुगलकी फरमानों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। ऐसा जान पड़ता है कि विभाग के जिम्मेदार मोहम्मद बिन तुगलक को अपना आदर्श माने बैठे है। पहले तो विभाग के जिम्मेदार बिना समझे-बूझे फरमान जारी कर देते हैं, फिर किरकिरी होने पर उसके पीछे दूसरा फरमान भेज देते हैं। वैसे तो प्रदेश का विद्यालयी शिक्षा विभाग संख्या के आधार पर राज्य का सबसे बड़ा विभाग माना जाता हैं। लेकिन रोज जारी अजब-गजब सरकारी आदेशों के लिहाज से भी यह सूबे का सबसे बड़ा विभाग हो चला है।

ताजा मामला प्रदेश के स्कूलों में गर्मियों की छुट्टियों को लेकर है। डीजी विद्यालयी शिक्षा बंशीधर तिवारी के हवाले से आदेश जारी हुआ है जिसमें कहा गया है कि मौजूदा शिक्षा सत्र में गर्मियों की छुटिटयां 2 जून से पांच जुलाई तक रहेगी। इसके पीछे विभाग की तरफ से दलील दी गई है कि बीते 12 मई को शिक्षा मंत्री की समीक्षा बैठक में फैसला लिया गया था कि 31 मई को विश्व तम्बाकू निषेध दिवस है। जिसमें कक्षा 6 से 12 तक के छात्र तम्बाकू निषेद्य की शपथ दिलाई जाएगी। अब विभाग के जिम्मेदार शिक्षा मंत्री के आदेश की तामील के फेर में अपने ही घोषित वार्षिक शैक्षिक कैलेण्डर को बाय पास कर बैठे।

इससे दो दिन पहले मीडिया के हवाले से खबर थी कि इस बार शैक्षिक सत्र पूरा नहीं हो पाया है लिहाजा गर्मियों की छुट्टियों में पांच दिन की कटौती की गई है। इस बीच 29 मई प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मन की बात भी होनी है जिसे सुनकर प्रदेश के नौनिहाल और शिक्षक लाभ ले सकते हैं। छुट्टियों के लिए अपना बोरिया-बिस्तर तैयार किये शिक्षकों को ये खबर नागवार लगी है। और शिक्षक संगठनों ने इस पर अपना विरोध भी जताया है। जिसके बाद अब विभाग की तरफ से ये नया आदेश आया है।

वहीं हाल ही में एलटी संवर्ग के शिक्षकों के मण्डलीय तबादले के आदेश को लेकर नई बहस छिड़ी हुई। जानकार बताते हैं कि प्रदेश के तबादला एक्ट में एलटी संवर्ग के मण्डलीय स्थानान्तरण का कोई उल्लेख नहीं हैं। लेकिन विभाग ने एक्ट की धारा-27 की आड़ लेकर एलटी संवर्ग में चहेतों के मण्डलीय ट्रासफर कर दिए।

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