बदले की भावना पर उतर आये श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय के कुलसचिव
देहरादून/ हरिद्वार/ टिहरीः हमेशा विवादों में रहने वाले श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय के कुलसचिव एक बार फिर चर्चाओं में है। इस बार कुलसचिव डा. दीपक भट्ट पर बदले की भावना से काम करने का आरोप लगा है। विदित हो कि हाल ही में कुलसचिव पर नकल रोकने के नाम पर शिक्षिकों के साथ छेड़छाड करने का आरोप लगा था। जिस संबंध में मंगलौर थाने में कुलसचिव के खिलाफ हिमगिरी काॅलेज प्रबंधन द्वारा आफआईआर दर्ज की गई। उक्त विवाद में अब एक नया मोड़ आया है।
दरअसल हिमगिरी महाविद्यालय प्रबंधन ने मंगलौर थाने में कुलसचिव डा. दीपक भट्ट के विरूद्ध एक और शिकायती पत्र प्रेषित किया। उक्त पत्र में महाविद्यालय प्रबंधन ने प्रमाणों के साथ आरोप लगाया है कि डा. दीपक कुमार भट्ट द्वारा अपने फेसबुक तथा अन्य सोशल नेटवर्किंग माध्यम पर प्रदेश के मुख्यमंत्री एवं उच्च शिक्षा मंत्री के साथ खिंचवाई गई फोटो का गलत इस्तेमाल कर निजी हित साध रहे हैं। काॅलेज प्रबंधन का आरोप है कि डा. दीपक कुमार भट्ट सरकारी सेवा कर्मचारी आचरण नियमावली का उल्लंघन कर रहे हैं।
उधर हिमगिरी काॅलेज की शिकायत के बाद कुलसचिव डा. दीपक भट्ट ने भी हिमगिरी महाविद्यालय के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। कुलसचिव ने हिमगिरी काॅलेज की मान्यता को लेकर काॅलेज प्रबंधन से जवाब तलब किया। जिससे स्पष्ट होता है कि कुलसचिव बदले की भावना से काॅलेज प्रबंधन के खिलाफ कार्यवाही कर रहे हैं। कुलसचिव द्वारा काॅलेज को भेजे गये पत्र में जिस भाषा का प्रयोग किया गया है उससे तो यही स्पष्ट होता है कि यह पत्र धमकाने के लिए भेजा गया। क्योंकि विश्वविद्यालय अधिनियम में साफ है कि मान्यता से संबंधित प्रकरणों का निस्तारण विश्वविद्यालय द्वारा गठित शिक्षा परिषद करती है। लेकिन चैंकाने वाली बात यह है कि उक्त प्रकरण के संबंद्ध में शिक्षा परिषद को किसी भी प्रकार से सूचित नहीं किया गया।
सवाल यह भी है कि जिस काॅलेज के खिलाफ कुलसचिव द्वारा कार्यवाही की चेतावनी दी गई है उसी काॅलेज प्रबंधन द्वारा कुलसचिव के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई गई है। इतना ही नहीं कुलसचिव के खिलाफ राजभवन द्वारा उक्त प्ररकण में उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिये गये हैं। ऐसे में सवाल यह भी उठता है कि उसी काॅलेज के विरूद्ध कुलसचिव द्वारा कैसे कार्यवाही की चेतावनी दी जा रही है। जिसको लेकर हिमगिरी काॅलेज प्रबंधन ने सवाल उठाये।