क्या नॉर्मल सर्दी-जुकाम भी कोविड से लड़ने के लिए देते हैं इम्यूनिटी? सामने आई चौंकाने वाली जानकारी
क्या नॉर्मल सर्दी-जुकाम से भी कोरोना से लड़ने के लिए इम्यूनिटी मिल सकती है? हर कोई कभी न कभी सर्दी-जुकाम की चपेट में आता है. अब सवाल उठता है कि क्या इनसे इम्यून सिस्टम को मजबूती मिलती है या नहीं. दरअसल नॉर्मल सर्दी-जुकाम भी उसी फैमिली के वायरस की वजह से होता है, जिससे कोरोना का संक्रमण होता है. एक अध्ययन में पाया गया है कि पिछले सर्दी-जुकाम से मिले इम्यून सेल्स कोरोना पैदा करने वाले वायरस से लड़ने में मदद कर सकते हैं.
मेमोरी सेल कैसे करती है काम?
दरअसल, जब हमारा शरीर किसी वायरस से लड़ता है जैसे कि सामान्य सर्दी, तो ये बीमारी से लड़ने वाली सेल्स को मेमोरी सेल्स के रूप में बनाए रखता है. अगली बार जब कोई व्यक्ति उसी तरह के वायरस की चपेट में एक बार फिर से आता है तो मेमोरी सेल उसे पहचान लेती है और वो फिर से बीमारी से लड़ने के लिए तैयार हो जाती है. मेमोरी सेल इम्यून सिस्टम को बीमारी का मुकाबला करने के लिए एक शुरुआत देता है.
मेमोरी सेल्स वायरस से लड़ने में मददगार!
रिसर्चर्स की एक टीम ने इन मेमोरी सेल्स की पहचान करने के लिए ब्लड के सैंपल्स का टेस्ट किया. मेमोरी सेल्स SARS-CoV-2 वायरस को पहचान सकती है, जो कोविड-19 वायरस का कारण बनता है. रिसर्चर्स ने कहा कि इस बात का पता लगाने के लिए और ज्यादा शोध की जरूरत है कि मेमोरी सेल्स कोविड-19 से लड़ने में कितनी बड़ी भूमिका निभाती हैं.
कोरोना से लड़ने में एंटीबॉडी करती है मदद
हेल्थ रिसर्च जर्नल ‘साइंस’ में नवंबर 2020 में पब्लिश एक अन्य शोध के मुताबिक, कुछ लोगों खासकर बच्चों में कोरोना से लड़ने के लिए ऐसी एंटीबॉडीज हो सकती हैं, जो कोरोना वायरस के खिलाफ रिएक्टिव होती हैं. ये एंटीबॉडीज लोगों में तब बनी होगी, जब वो नॉर्मल सर्दी-जुखाम, वायरल फीवर आदि से संक्रमित हुए होंगे. वहीं, जनवरी 2022 में नेचर कम्युनिकेशंस में पब्लिश एक अध्ययन के मुताबिक, जो लोग कोरोना वायरस से हाई लेवल के इम्यून सेल्स का निर्माण करते हैं, उन्हें कोविड-19 से कुछ हद तक सुरक्षा मिल सकती है.