स्वास्थ्य मंत्री डा. धन सिंह रावत ने किया आधुनिक लैब का लोकार्पण

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देहरादून/श्रीनगर। श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में अब जीनोम सिक्वेंसिंग की जा सकेगी। सूबे के स्वास्थ्य मंत्री डा. धन सिंह रावत ने आज मेडिकल कॉलेज में नव स्थापित जीनोम सिक्वेंसिंग लैब का विधिवत लोकार्पण किया। अति आधुनिक तकनीकी से युक्त लैब के उद्घाटन अवसर पर डा. रावत ने प्रधानमंत्री व केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री का आभार जताते हुये कहा कि अब प्रदेश के चार मेडिकल कॉलेजों में जीनोम सिक्वेसिंग लैब स्थापित की चुकी है।

उन्होंने बताया कि वर्तमान में दून एवं हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज में जीनोम सिक्वेंसिंग लैब क्रियाशील है और अब श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में भी लैब का संचालन शुरू कर दिया गया है। शीघ्र ही अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज में भी लैब का विधिवत शुभारम्भ कर दिया जायेगा। मेडिकल कॉलेजों में जीनोम सीक्वेंसिंग लैब की स्थापना हो जाने से कोविड सहित अन्य महामारियों एवं जटिल रोगों की आसानी से जांच संभव हो सकेगी।

सूबे के चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने आज श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में रूपये 285 लाख की लागत से बनी जीनोम सिक्वेंसिंग लैब का लोकार्पण किया। उन्होंने बताया कि जीनोम सिक्वेंसिंग की जांच के लिये सैम्पल बाहर नहीं भेजे जायेंगे, बल्कि श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में ही जीनोम सिक्वेंसिंग होगी। इससे करोना महामारी सहित अन्य जटिल रोगों की जांच आसानी से की जा सकेगी।

विभागीय मंत्री ने बताया कि राज्य के चारों मेडिकल कॉलेजों देहरादून, श्रीनगर, हल्द्वानी व अल्मोड़ा में स्थापित जीनोम सिक्वेंसिंग लैब में प्रति माह 2 हजार से अधिक जीनोम सिक्वेसिंग की क्षमता है, वर्तमान में दून एवं हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज में जीनोम सिक्वेसिंग लैब क्रियाशील है जबकि श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में लैब का विधिवत शुभारम्भ कर दिया गया है। शीघ्र ही अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज में जीनोम सिक्वेंसिंग लैब का संचालन शुरू कर दिया जायेगा, इसके लिये इनसाकॉग (आईएनएसएसीओजी) में पंजीकरण के लिये एनसीडीसी से अनुमति मांगी गई है।

स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने मेडिकल कॉलेज में मेडिकल छात्र-छात्राओं से मुलकात कर उनकी समस्याओं को सुना और कॉलेज प्रशासन को उनकी दिक्कतों को शीघ्र दूर करने के निर्देश दिये, इस दौरान उन्होंने कॉलेज में पुस्तकालय का भी निरीक्षण किया और नामचीन लेखकों एवं मेडिकल संबंधी शोध पत्रों को पुस्तकालय में उपलब्ध कराने के निर्देश अधिकारियों को दिये।

इस अवसर पर निदेशक चिकित्सा शिक्षा डॉ. आशुतोष सयाना, प्राचार्य श्रीनगर मेडिकल कॉलेज डा. सी.एम.एस. रावत, चिकित्सा अधीक्षक डा. रविन्द्र बिष्ट सहित कॉलेज स्टॉफ एवं मेडिकल छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।