कैबिनेट मंत्री डा० धन सिंह की इस तस्वीर को विपक्षी कांग्रेस ने बनाया मुद्दा, पढ़े ये रिपोर्ट
देहरादून। पूरा देश आजादी का अमृत उत्सव मना रहा है। घर-घर तिरंगा अभियान चलाया जा रहा है। इसी बीच प्रदेश में सबसे चर्चित मंत्री एक बार फिर चर्चा में हैं। इस बार तिरंगे को लेकर चर्चा में है। सोशल मीडिया में उनकी ये तस्वीर वायरल हो रही है। उनकी तिरंगा पकड़े इस तस्वीर ने विपक्षी कांग्रेस को बैठे बिठाये मुद्दा मिल गया है।
ये तस्वीर पंतजलि योगपीठ के महामंत्री आचार्य बालकृष्ण के जन्म दिवस के कार्यक्रम की बतायी जा रही है। इस तस्वीर में प्रदेश के शिक्षा और स्वास्थ्य मत्री डा० धन सिंह रावत उल्टा तिरंगा पकड़े हुए नजर आ रहे हैं। हालांकि मंत्री जी ने ये तिरंगा किन परिस्थितियों में पकड़ा है या किसी ने मंत्री की फोटो के छेड़छाड़ की है ये तो जांच का विषय है। लेकिन विपक्षी कांग्रेस ने इसको मुद्दा बना दिया है।
कांग्रेस की प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने ये तस्वीर शेयर करते हुए लिखा है “तिरंगा तो तिरंगा है” कांग्रेस नेतृत्व ने 1930 में ही हाथ में उठाया और तिरंगे लहराते हुए देश के लिए शहीद हो गए और जिन्होने 2000 के बाद तिरंगे की ताकत को पहचाना जो नए-नए देश भक्त बने हैं उन्हे तिरंगा भी उल्टा पकड़ा है। फिलहाल ये फोटो सोशल मीडिया पर भी खूब वायरल हो रहा है।
वहीं कांग्रेसी राजेश चमोली ने सोशल मीडिया में डा० धन सिंह रावत की ये तस्वीर शेयर करते हुए लिख है कि ‘उत्तराखंड राज्य के उच्च व शिक्षा विभाग का भार ऐसे कंधों पर है नोट:- हर घर तिरंगा ऐसे ना लगाएं बल्कि जैसे मुख्यमंत्री Pushkar Singh Dhami जी के हाथ में उस प्रकार फहराएं बाकी मंत्री जी साथ रहने वाले कुछ साथियों के लिए छूट है वो उनका अनुसरण कर सकते हैं।
अब सवाल ये है क्या मंत्री जी ने ये तिरंगा उल्टा पकड़ा था या फिर किसी ने फोटो के साथ छेड़छाड़ की है ।
वहीं कैबिनेट मंत्री डा० धन सिंह रावत ने सोशल मीडिया के जरिए इस पर सफाई देते कहा है कि- एक समाचार पत्र में प्रकाशित छायाचित्र को विपक्ष के लोगों द्वारा सोशल मीडिया पर अनावश्यक मुद्दा बना कर लोगों को गुमराह किया जा रहा है। हरिद्वार स्थित पतंजलि योगपीठ में आयोजित कार्यक्रम में अतिथियों को राष्ट्रीय ध्वज वितरित करते समय ‘तिरंगे’ के निचले हिस्से को उलटकर मेरे द्वारा सही किया जा रहा था, तभी किसी छायाकार द्वारा हमारा छायाचित्र ले लिया गया और उसे प्रकाशित कर दिया। जबकि अन्य समाचार पत्रों में उसी मंच की सही फोटो प्रकाशित की गई है। राष्ट्रीय प्रतीकों के प्रति मेरी आस्था उतनी ही प्रबल है जितनी कि मेरे लिये प्राणवायु। सोशल मीडिया पर विपक्ष इस फोटो को लेकर महज अपनी राजनीतिक रोटियां सेक रहा है, क्योंकि विपक्ष के पास जन मुद्दों को लेकर कोई काम ही नहीं है