हिमालय नॉलेज नेटवर्क की स्थापना के लिए हुआ एलओए, यूसैक बनी नोडल एजेंसी
देहरादून: बुधवार को जी.बी.पंत राष्ट्रीय हिमालय पर्यावरण संस्थान, कोसी-अल्मोड़ा भारत सरकार व उत्तराखंड अंतरिक्ष अनुप्रयोग केंद्र (यूसैक) ने उत्तराखंड राज्य में हिमालय नॉलेज नेटवर्क को स्थापित करने के लिए समझौता पत्र (एलओए) हस्ताक्षर किए।
इस पहल में, पूर्व में नीति आयोग, भारत सरकार द्वारा जी.बी.पंत राष्ट्रीय हिमालय पर्यावरण संस्थान को हिमालयी क्षेत्र के लिए केंद्रीकृत डेटा प्रबंधन एजेंसी के रूप में चिन्हित किया गया है, जिसमें आज यू-सैक को उत्तराखंड राज्य के लिए नॉलेज नेटवर्क की स्थापना के लिए नोडल एजेंसी के रूप में चिन्हित किया गया।
इस पहल का उद्देश्य हिमालयी पर्यावरण और विकास के लिए विज्ञान आधारित नीति निर्धारण से संबंधित डेटा जानकारी साझा करने में सुविधा प्रदान करना है ।
इस अवसर पर पर्यावरण संसथान के निदेशक डॉ. आर.एस. रावल ने एल.ओ.ए. को हस्ताक्षर करते हुए कहा कि यूसैक द्वारा राज्य में स्थित विभिन्न वैज्ञानिक संस्थानों, रेखीय विभागों, अन्य गैर-सरकारी संस्थानों के बीच सुगम-सूचना साझाकरण हेतु नेटवर्क की स्थापना करना है।
यूसैक उत्तराखंड राज्य के विभिन्न हितधारकों के साथ राज्य के सतत विकास के लिए प्राथमिकता आधारित विषयगत क्षेत्रों की पहचान कर विस्तृत दस्तावेजों को तैयार करेगा। यू सैक, उपयोगकर्ता एजेंसियों, हितधारकों एवं स्थानीय लोगों के बीच डेटा सूचना साझाकरण तंत्र के उपयोग के लिए राज्य आधारित विशिष्ट रणनीति भी विकसित करेगा।
इस अवसर पर यू सैक के निदेशक प्रो. एम.पी.एस. बिष्ट ने कहा कि इस कार्यक्रम के माध्यम से जीबी. पंत पर्यावरण संस्थान व यू सैक संयुक्त रूप से उन विशेषज्ञों तक पहुंचेंगे जो पहाड़ उत्तराखंड के मुद्दों पर विस्तृत ज्ञान रखते हैं ।
संयुक्त रूप से दोनों संगठन विशेषज्ञ वार्ता आयोजित करेंगे व जलवायु परिवर्तन अनुकूलन, प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन, आपदा जैसे विषयों पर युवाओं को जागृत करेंगे। योजनाकारों और नीति निर्माताओं द्वारा उपयोग किए जाने वाले आंकड़ों सूचना संग्रह के लिए युवाओं को प्रशिक्षित कर प्रेरित करना तथा जलवायु परिवर्तन के ज्ञाताओं की निर्देशिका तैयार करना इस समझोते के अन्य प्रमुख क्रियाकलाप हैं।
हिमालयन नॉलेज नेटवर्क (एच.के.एन.)
एच.के.एन. को हिमालयी क्षेत्रों में अनुसंधान एवं विकास के कार्यों को करने वाले सभी प्रासंगिक संस्थानों के बीच सहयोग और नेटवर्किंग बढ़ाने के लिए संकल्पित किया गया है जिससे पर्यावरण संरक्षण एवं सतत विकास के लिए योजनाकारों व नीति निर्माताओं की आवश्यकता को पूरा किया जा सके। एच.के.एन. विज्ञान आधारित सूचना के दस्तावेजीकरण, एकीकरण व उपलब्धता की सुविधा प्रदान करेगा।
केंद्र के वैज्ञानिक डॉ.गजेन्द्र सिंह एवं ई. शशांक लिंगवाल, को उत्तराखंड राज्य में हिमालय नॉलेज नेटवर्क को लागू करने के लिए नोडल अधिकारी चयनित किया गया है। कार्यक्रम के दौरान केन्द्र के वैज्ञानिक डॉ सुषमा गैरोला, डॉ आशा थापलियाल, जन सम्पर्क अधिकारी ¬ सुधाकर भट्ट, इन्द्रजीत सिंह व केंद्र के शोधार्थी नवीन चंद्र, सोनम बहुगुणा, संजय द्विवेदी, भावना घिंडियाल, अतुल कौशिक, सौरभ डंगवाल, विकाश आदि मौजूद रहे।