गाँव कनेक्शन: तो दिखने लगा है विकास, कुल्याणी में पहुंची विकास की किरण
पाबौः पौड़ी जिला में पाबौ ब्लाक का आखिरी गांव ग्राम-सभा कुल्याणी। आजकल यहां गांव में बदला हुआ नजारा है। गांव के लोगों में एक अलग सा उत्साह है। बच्चों के चेहरों में मुस्कान है। गांव के लोगों को अपने और अपनों के भविष्य को लेकर नई आस और उम्मीद जगी है। प्रवासी भाई-बंधों का तो मानो खुशी का ठिकाना नहीं है। यह उम्मीद और उत्साह गांव के लोगों के चेहरों पर आने की वजह है गांव में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत पहुंची मोटर रोड।
गांव में जैसे जश्न का माहौल है। इस सड़क पर सरपट दौड़ते दुपहिया और चैपहिया वाहन नजर आ रहे है। गांव के नौजवानों में अपनी गाड़ी के साथ सेल्फी लेने का दौर चल रहा है। कोई इस सड़क पर दुपहिया वाहन चलाना सीख रहा है। तो कोई नया वाहन खरीदने की योजना बना रहा है। दिनभर अपने रोजमर्रा के काम जैसे खेती किसानी, मजदूरी और दूसरे कामकाज निपटाने के बाद गांव के लोग शाम को इस रोड पर टहलना नहीं भूलते। अब ये जैसे उनके दैनिक जीवन का हिस्सा हो गया है।
गांव के युवा सुनील बताते हैं अब मोटर रोड से बहुत सहूलियत मिलेगी। पहले गांव के स्कूली बच्चों को रोजाना 16 किमी पहाड़ी रास्ता पैदल नापना पड़ता था। विद्यार्थी सुबह तड़के स्कूल के लिए तैयार होते थे और शाम ढलने पर ही घर पहंच पाते थे। घर में हमेशा अभिभावक चिंता में रहते थे। लेकिन रोड बनने से बच्चों का समय बचेगा और अभिभावकों की चिंता से भी मुक्ति मिलेगी। सुनील सिंह बताते है कि यह मांग पिछले लंबे समय से चल रही थी। गांव का सडक मार्ग से जुडने से पलायन पर भी रोक लगेगी और स्थानीय लोगों को रोजगार से साधन भी उपलब्ध होंगे। सरकार ने गांव से सडक की सौगात देकर विकास का रास्ता खोला है।
यहां की ग्रामीण महिलाओं का कहना है गांव में ही अब गाड़ियां आने लगी हैं। जब कोई गांव में बीमार होता था तो उसे अस्पताल पहुंचाने के लिए पहले तो आठ किमी का पैदल रास्ता नापना पड़ता था। उसके बाद गाड़ी मिलती थी। तब जाकर मरीज को गाड़ी से अस्पताल पहुंचाया जाता था। लेकिन अब रोड आने से मरीज को समय पर अस्पताल पहुंचाया जा सकता है। और उसे समय पर इलाज मिल सकेगा।
इस गांव के प्रवासी सुरेन्द्र सिंह नेगी गांव में सड़क पहुंचने से खासे खुश हैं। उन्होंने बताया कि अब वह सीधे अपने गांव अपने निजी वाहन से जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि पहले वह बामुश्किल कभी-कभार गांव जा पाते थे लेकिन गांव में जब से मोटर रोड पहुंची है वह अभी तक दो-तीन बार अपने गांव हो कर आज चुके हैं।
ग्राम प्रधान मनवर सिंह रावत उत्साहित होकर बताते हैं, मोटर रोड कुल्याणी गांव में पहुंचने से गांव का चहुंमुखी विकास होगा। गांव में होने वाले निर्माण कार्यों के लागत में कमी आएगी। उन्होंने बताया कि ग्राम सभा कुल्याणी को पाबौ ब्लाक में आदर्श ग्राम सभा के लिए चयनित किया गया है। सहकारिता विभाग के सहयोग से गांव में स्वरोजगार की भी योजनाएं चल रही है। स्वरोजगार को लेकर त्रिवेन्द्र सरकार की पहल से गांव में पलायन रूकेगा।
पाबौ ब्लाक में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत बने चपलोड़ी-कुल्याणी मल्ली रोड पर तकरीबन पांच गांव के लगभग 2 हजार की आबादी को इस सड़क से सीधा लाभ पहुंचा है। जिसमें मनकोली, चैड़िख, चुम्फण्डा, चैंदला, फलद्वाडी, घुमकी, देवकोट, कुल्याणी गांव हैं। इससे पहले इन गांवों के वाशिदों को लगभग आठ किमी पैदल आना जाना पड़ता था। रोजमर्रा की जरूरतों के लिए पहाड़ी और जंगली रास्ता नापना जैसे यहां के लोगों की नियति बन गई थी। सड़क बन जाने से यहां आवागमन, रोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा के लिहाज से भी फायदा होगा।
पौड़ी जिला में प्रधानमत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत कुल 287 किलोमीटर रोड बनाई जानी थी। जिस पर तकरीबन 213 किलोमीटर सड़क पूरी तौर पर बनकर तैयार हो चुकी है। डबल इंजन की सरकार का असर है गांव-गांव में सड़कों का जाल बिछ गया है। त्रिवेन्द्र सरकार के सत्ता संभालने के बाद विकास कार्यों में तेजी आई है। ये सड़कें पर्वतीय गांवों में खुशहाली का संदेश लेकर पहुंच रही हैं। गांव के कठिन जीवन को इन सड़कों ने आसान बना दिया है। ये नये उत्तराखण्ड की शुरूआत है।